सोमवार को अंतरराष्ट्रीय न्यायालय में होगा रूस और यूक्रेन का आमने-सामने

नई दिल्ली: मास्को के सैन्य अभियानों को रद्द करने के आदेश के लिए कीव द्वारा मांगे गए आपातकालीन उपायों पर सुनवाई में यूक्रेन और रूस सोमवार को अंतर्राष्ट्रीय न्यायालय (आईसीजे) में आमने-सामने होंगे। रूस के शीर्ष वकीलों में से एक एलन पेलेट ने इस्तीफा दे दिया है।

रूस और यूक्रेन दोनों ने संयुक्त राष्ट्र में यूक्रेन द्वारा दायर एक मामले में नरसंहार की रोकथाम पर 1948 की संधि की परिभाषा पर हस्ताक्षर किए हैं। संधि ने विवादों को सुलझाने के लिए अदालत को एक मंच के रूप में स्थापित किया।

गौरतलब है कि यूक्रेन ने इस मामले में दलील दी थी कि इस बात का कोई सबूत नहीं है कि नरसंहार हुआ था या पूर्वी यूक्रेन में होगा। रूस के पास भी यूक्रेन के खिलाफ कार्रवाई करने का कोई कानूनी आधार नहीं है। उधर, रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने कहा कि पूर्वी यूक्रेन में लोगों की सुरक्षा के लिए सैन्य कार्रवाई की गई है।

इससे पहले एक बयान में संकटग्रस्त पीएम से इस्तीफा देने की मांग की गई थी। न्यायालय के केवल कुछ सदस्य ही ग्रेट हॉल ऑफ जस्टिस में मौखिक कार्यवाही में व्यक्तिगत रूप से भाग लेंगे, जबकि अन्य सदस्य वस्तुतः भाग लेने या शामिल होने में सक्षम होंगे। यूक्रेन ने 26 फरवरी को आईसीजे में एक याचिका दायर कर अनुरोध किया कि अदालत यूक्रेन में सभी सैन्य अभियानों को तुरंत निलंबित कर दे।